राजी पड़हा प्रार्थना सभा चुंदरी के बैनर तले नवाटोली में प्रार्थना सभा कार्यक्रम एवं झंडा पुनर्स्थापना का आयोजन रविवार को देर शाम 4:00 किया गया कार्यक्रम के बतौर मुख्य अतिथि पूर्व मुख्य आदित्य भगत शामिल हुए।कार्यक्रम में पूजन पाठ कर झंडा पुनर्स्थापना किया गया। मौके पर उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए पूर्व मुखिया आदित्य भगत ने आदिवासी सभ्यता संस्कृति के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि हम प्रकृति के पूजक हैं। जिस तरह हिंदी इंग्लिश,उर्दू,बांग्ला इत्यादि भाषा का अलग लिपि है। इस प्रकार हमारे कुडूख भाषा का भी अलग लिपि है।जिसे तोलोंग सिकी लिपि कहते हैं।प्रार्थना सभा के माध्यम से मैं कहना चाहूंगा कि हमारी भाषा एवं लिपि का भी पढ़ाई शुरू हो ।
वही धर्मगुरु तेज नारायण उरांव ने कहा कि आदिवासी संस्कृति सभ्यता की एक अलग ही पहचान है। हम सभी प्राकृतिक के पूजक है। हमें अपने धरोहर को संरक्षण करने की जरूरत है।इसके पूर्व पारंपरिक नृत्य गीत के साथ अतिथियों को मंच तक लाया गया। जहां बैच पहनाकर और अंग वस्त्र देकर स्वागत किया गया।मौके पर उपस्थित लोगों में राजी पड़हा सरना समिति के धर्मगुरु तेज नारायण उरांव,उपेंद्र उरांव, प्रकाश उरांव,शिवलाल उरांव, रामकुमार भगत, सुशीला उरांव, बिरसाई उरांव ,सुरेश्वर कुजूर सहित सैकड़ो की संख्या में लोग उपस्थित थे।
News – गनपत लाल चौरसिया