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Thursday, September 19, 2024
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गुमला जिले से दूसरी बार छात्राएं गई ISRO, माननीय मुख्यमंत्री ने भी किया प्रशंसा एवं दी शुभकामनाएं

छात्राओं ने ISRO अंतर्गत विज्ञान से जुड़े कई रोचक चीजों के बारे में जाना, छात्राओं ने दिखाई उत्साह

गुमला – गुमला उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी की पहल से सपनो की उड़ान नामक गतिविधि के तहत जिले के KGBV/CSOE एवं आवासीय विद्यालयों से चयनित 26 छात्राओं को फिर एक बार ISRO सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र,श्रीहरिकोटा भेजा गया। यह गुमला जिले में दूसरी बार है जब जिले के सरकारी विद्यालय के छात्राओं को शैक्षणिक भ्रमण के लिए ISRO के लिए भेजा गया। इस पहल के लिए माननीय मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भी सराहना कि एवं छात्राओं को शुभकानायें दी।

अनुमंडल पदाधिकारी चैनपुर के नेतृत्व में गुमला जिला प्रशासन की 26 छात्राओं तथा इंस्ट्रक्टर्स की टीम के 22 जुलाई की सुबह स्टेट गेस्ट हाउस चेन्नई से निकलकर इसरो के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र, श्री हरिकोटा गईं जहां इसरो के वैज्ञानिक श्री शांतनु शुक्ला ने सभी का स्वागत करते हुए श्रीहरिकोटा इसरो में चलने वाली गतिविधियों का प्रेजेंटेशन दिया तथा छात्राओं द्वारा सेटेलाइट और रॉकेट संबंधी जानकारी प्राप्त करते हुए चंद्रयान और आदित्य एल 1 संबंधी जानकारी के साथ भविष्य के गगनयान संबंधी योजना की जानकारी प्राप्त की।

इसके पश्चात सभी को मिशन कंट्रोल सेंटर ले जाया गया जहां से इसरो चीफ और सभी वरिष्ठ वैज्ञानिक बैठकर सभी लांचिंग कंट्रोल करते हैं जबकि वास्तविक लांचिंग कंट्रोल सेंटर से 7 किलोमीटर की दूरी पर है । वहां पर झारखंड के बोकारो जिला से इसरो में कार्यरत उमाशंकर जी से मुलाकात हुई। विशेष रूप से सभी छात्राओं को वरिष्ठ वैज्ञानिकों की कुर्सी पर बैठाते हुए लांचिंग की प्रस्तुति दी गई।

मौके पर आवासीय विद्यालय चापाटोली की छात्रा नैंसी कुमारी को उस कुर्सी पर बैठने का सौभाग्य प्राप्त हुआ जिसमें चंद्रयान 3 की लॉन्चिग के दौरान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी बैठे थे।

इसरो केंद्र के अंदर सभी को ब्रह्मप्रकाश कक्ष, लाइब्रेरी, ब्रह्मप्रकाश कक्ष के साथ साथ लांचिंग पैड 1 एवं 2 दिखलाते हुए विस्तृत जानकारी दी गई । साथ ही इसरो में सिलेक्शन प्रक्रिया की जानकारी दी गई तथा सभी को इंटरमीडिएट में गणित एवं भौतिकी के साथ साइंस स्ट्रीम की पढ़ाई के साथ जेईई परीक्षा की तैयारियों के सुझाव दिए गए। इस भ्रमण के पश्चात सभी छात्राएं बहुत खुश नजर आई और उनके द्वारा बताया गया कि उन्होंने हवाई जहाज से सफर करते हुए इसरो आने के बारे में सपनों में भी नहीं सोचा था ।
सभी छात्राओं के आवास के लिए तमिलनाडु के स्टेट गेस्ट हाउस में बेहतरीन वीआईपी व्यवस्था की गई है ।

भ्रमण के दूसरे दिन सभी छात्राओं को सुबह स्टेट गेस्ट हाउस की कैंटीन में शानदार नाश्ते के बाद सभी छात्राएं पुनः एक शानदार सफर पर निकलीं जिसके अंतर्गत सभी को नेशनल म्यूजियम ले जाया गया जहां सभी छात्राएं सिंधु घाटी सभ्यता, मानवशास्त्र, दक्षिण भारतीय संगीत, प्राचीन भारतीय इतिहास आदि से परिचित हुई।

तत्पश्चात सभी को विश्व की सबसे बड़ी रेल कोच फैक्ट्री आईसीएफ के चेन्नई रेल म्यूजियम ले जाया गया जहां ऑफिस सुप्रीटेंडेंट श्री हेनसेल के द्वारा इस रेल म्यूजियम की विस्तृत जानकारी दी गई । उनके द्वारा बताया गया कि 600 ईश्वी पूर्व से पत्थरों को काटकर मनुष्यों द्वारा नाव खींचने से रेलवे का इतिहास आरंभ होता है जो लकड़ी की पटरियों पर बिना इंजन से घोड़ों से खींचने लेकर जेम्स वॉट द्वारा भाप के इंजन आविष्कार की यात्रा करते हुए कोयला और अब बिजली के इंजन तक की यात्रा है । छात्राओं के द्वारा रेलवे आर्ट गैलरी भ्रमण गया तथा भारतीय रेलवे के इतिहास, ट्रैक, इंजन, टिकट, सिग्नल आदि की विस्तृत जानकारी प्राप्त की गई।

छात्राओं ने टॉय ट्रेन का डेमोनेस्ट्रेशन भी देखा एवं आईसीएफ में निर्मित भारत के फास्टेस्ट ट्रेन वंदे भारत निर्माण की जानकारी प्राप्त की। सभी छात्राओं ने पुराने समय के रेलवे ट्रैक, इंजन, सिग्नल सिस्टम के साथ बने पार्क का भ्रमण करते हुए खूब मस्ती की । इस अवसर पर सभी को थियेटर में वीडियो मूवी प्रेजेंटेशन के माध्यम से रेलवे में नियुक्ति प्रक्रिया एवं आवश्यक जानकारी भी दी गई ।

इस भ्रमण में अंचल अधिकारी गुमला, श्री हरीश कुमार, बीपीओ दिलदार सिंह, डिस्ट्रिक्ट फेलो रमेश कुमार के साथ शिक्षिका शशि नीलम तिर्की, नीलम खाखा एवं रोहिणी कुमारी प्रसाद कोर्डिनेटर के रूप में छात्राओं को सहयोग करते हुए आवश्यक सुविधाओ के लिए कार्य कर रहें हैं।

News – गनपत लाल चौरसिया 

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