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Friday, September 20, 2024
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HEC को बचाने की लड़ाई अब दिल्ली पहुंची, जंतर-मंतर पर इंडिया गठबंधन का महाधरना, नेताओं ने मोदी सरकार पर सरकारी उपक्रमों को बेचने का आरोप मढ़ा

नई दिल्ली, रांची : एचईसी को बचाने की लड़ाई अब दिल्ली पहुंच गई है। इंडिया गठबंधन व अन्य श्रमिक संगठनों के बैनर तले सैकड़ों लोगों ने गुरुवार को इस मुद्दे पर जहां जंतर-मंतर पर धरना दिया. उधर, वहीं रांची में एचईसी मुख्यालय पर हजारों कर्मियों ने रोषपूर्ण प्रदर्शन किया। धरना में सभी नेताओं केंद्र की मोदी सरकार पर हमला बोला, कहा कि सारे सार्वजनिक कल-कारखानों को अपने दोस्त अडानी अंबानी को हवाले कर रही है। रांची से सैकड़ों लोग जंतर मंतर पर आक्रोशपूर्ण प्रदर्शन किया।
प्रदर्शनकारियों ने केंद्र सरकार पर एचईसी को बंद करने की साजिश का आरोप लगाया। 1962 में रांची के धुर्वा में स्थापित हेवी मशीन बनाने वाली इस कंपनी की गिनती केंद्र सरकार के गौरवशाली पीएसयू में होती थी। 22 हजार कर्मियों के साथ शुरू हुई इस कंपनी में अब सिर्फ 3400 कर्मचारी-अधिकारी बचे हुए हैं। इनमें भी 1500 से ज्यादा कर्मी अस्थायी हैं या ठेके पर काम करते हैं। हालांकि धीरे-धीरे बंदी की ओर बढ़ती कंपनी को बचाने को लेकर अब आंदोलन तेज होने लगा है।

नेेेेेताओं ने कहा-चंद्रयान के लिए लॉन्चिंग पैड बनानेवाले एचईसी को अपने हाल पर छोड़ा

नेताओं ने कहा कि केंद्र की मौजूदा सरकार सभी सरकारी उपक्रमों को बेचने पर तुली है। भारतीय रेल, इंडियन एयरलाइंस, हवाई अड्डों, बंदरगाहों सहित केंद्र सरकार के उपक्रमों को निजी हाथों में सौंपा जा रहा है। एचईसी से भी हाथ खींच लेने के पीछे की वजह यही है कि सरकार इसे निजी हाथों में बेचना चाहती है। कंपनी पर कर्ज और बोझ इस कदर है कि इनका तनख्वाह देने में भी कंपनी सक्षम नहीं है। यहां के अधिकारियों-कर्मचारियों का संस्थान पर 18 महीने का वेतन बकाया है। आज की तारीख में भी कंपनी के पास करीब 1200 करोड़ का वर्क ऑर्डर है, लेकिन इसे पूरा करने के लिए वर्किंग कैपिटल नहीं है। कहा गया कि चंद्रयान के लिए लॉन्चिंग पैड बनाने वाले एचईसी को अपने हाल पर छोड़ दिया गया है.

धरना में कई नेता-कार्यकर्ता शामिल हुए

धरना में झामुमो की राज्यसभा सांसद डॉ महुआ माजी, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय, दिल्ली से आप के राज्यसभा सांसद संजय सिंह, बिहार से जदयू के राज्यसभा सांसद खीरू महतो, सीपीआई के राष्ट्रीय महासचिव अतुल अंजान, सीपीआई के झारखंड राज्य सचिव महेंद्र पाठक, केरल के पूर्व राज्यसभा सांसद पी संतोष, कांग्रेस के खिजरी विधायक राजेश कच्छप, सीटू के महासचिव तपन सेन, सीटू नेता भवन सिंह, झामुमो जिलाध्यक्ष मुस्ताक अंसारी, डॉ हेमलाल महतो, सी पी रामचंद्रन, तनु सिंह, रवि सिंह, संतोष राय, कांग्रेस के कमल ठाकुर, सुंदरी तिर्की, गणेश रवि, डॉक्टर एपी सिंह, सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता अशोक सिंह चौहान, राष्ट्रीय जनता दल के धर्मेंद्र सहित कई नेता-कार्यकर्ता सैकड़ों लोग शामिल हुए.

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