हजारीबाग जिले के बड़कागांव प्रखंड की पूर्वी पंचायत में भ्रष्टाचार का एक गंभीर मामला सामने आया है। शुक्रवार को भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) ने एक मुखिया और उनके पति को 25 हजार रुपए रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। मुखिया विमला देवी और उनके पति राजकुमार साव (मुखिया प्रतिनिधि) पर आरोप है कि उन्होंने अबुआ आवास योजना के तहत लाभुक से घूस की मांग की थी।
रिश्वत की मांग और गिरफ्तारी
विमला देवी और राजकुमार साव ने बड़कागांव प्रखंड के पूर्वी पंचायत में अबुआ आवास योजना के लाभुक बसंत साव की पत्नी सुशीला देवी से 25 हजार रुपए घूस की मांग की थी। सुशीला देवी को अबुआ आवास योजना के तहत घर पास हुआ था, और इसी के एवज में महिला मुखिया द्वारा यह रिश्वत की मांग की गई थी।
शिकायत और एसीबी की कार्रवाई
बसंत साव ने भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो को शिकायत दी थी कि उनकी पत्नी के नाम पर पास हुए आवास योजना के तहत उन्हें 25 हजार रुपए रिश्वत देने के लिए मजबूर किया जा रहा है। बसंत साव ने साफ कहा कि वह रिश्वत देना नहीं चाहते हैं और इस बारे में एसीबी को सूचित किया। शिकायत मिलने के बाद, एसीबी ने मामले की जांच शुरू की। जांच के दौरान शिकायत सही पाई गई और इसके बाद गिरफ्तारी की योजना बनाई गई।
जाल बिछाकर गिरफ्तारी
शुक्रवार को एसीबी ने जाल बिछाकर मुखिया विमला देवी और उनके पति राजकुमार साव को 25 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। एसीबी अधिकारियों ने दोनों को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू की है। यह गिरफ्तारी हजारीबाग जिले में भ्रष्टाचार के खिलाफ एसीबी की एक बड़ी सफलता मानी जा रही है।
इस घटना ने बड़कागांव प्रखंड में भ्रष्टाचार के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने का काम किया है। एसीबी की इस कार्रवाई से यह संदेश स्पष्ट है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ सख्त कदम उठाए जा रहे हैं और दोषियों को किसी भी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा। स्थानीय जनता ने एसीबी की इस तत्परता और साहसिक कदम की सराहना की है और उम्मीद जताई है कि ऐसे ही और भी मामलों में कार्रवाई जारी रहेगी।
News – Vijay Chaudhary.